लखनऊ (जनमत):- मंडल की टेंडरिंग प्रक्रिया में ई.आक्शन कार्य प्रणाली के सम्बन्ध में मंडलीय कार्यालय के साभागार में मंडल रेल प्रबंधक, सुरेश कुमार सपरा के कुशल दिशा निर्देशन में ई-आक्शन टेंडर प्रणाली के तहत प्रशासन (विक्रेता) एवं क्रेताओ (कांट्रेक्टरों) के मध्य एक मीटिंग का आयोजन किया गया,इस बैठक में 50 क्रेताओ/कांट्रेक्टरों ने भाग लिया| इस बैठक का उद्देश्य ई-आक्शन टेंडर प्रणाली के सम्बन्ध में कांट्रेक्टरों को आवश्यक जानकारी एवं आवश्यक बिन्दुओं से विस्तार चर्चा करते हुए उनकी शंकाओ का समाधान करना था साथ ही पारस्परिक संवाद के द्वारा इस कार्य में आने वाली समस्याओ की जानकारी प्राप्त करते हुए उनका समाधान करना था ताकि यह प्रणाली पूर्ण पारदर्शिता के साथ सुगमतापूर्वक अमल में लायी जा सके | इसके अतिरिक्त इस बैठक में ई.आक्शन के द्वारा किस प्रकार से टेंडर की प्रक्रिया को अमल में लाया जाना है इस विषय पर भी विस्तारपूर्वक लाइव व प्रेजेंटेशन के माध्यम से वेंडरों का मार्गदर्शन किया गया I
ज्ञात हो कि भारतीय रेल के परिप्रेक्ष्य में उत्तर रेलवे के लखनऊ मंडल द्वारा एक नयी पहल करते हुए वाणिज्य विभाग द्वारा किसी आय से सम्बंधित(earning contract) कार्य का ठेका देने की प्रक्रिया को अब ई-आक्शन (E-Auction) प्रणाली के तहत प्रारंभ किया जाएगा I I इस प्रक्रिया के अंतर्गत ई-आक्शन में भाग लेने हेतु संभावित बोलीदाता/पार्टी को www.IREPS.gov.in पर जाकर स्वयं को ई-आक्शन मोडयूल में पंजीकृत कराना होगा I यह पंजीकरण भारतीय रेल के सभी ज़ोनों एवं पी.यू. के लिए वैध होगा तथा वेंडर को अलग-अलग ज़ोन/पी.यू. के लिए अलग-अलग पंजीकरण नहीं कराना होगा I
जिस वेंडर का अकाउंट IREPS के अन्य Module (वाणिज्यिक ठेका व् अन्य )के लिए पहले से हैं, उन्हें भी अपने आप को Commercial Auction Module के लिए नामांकन कराना होगा I ई-आक्शन के पंजीकरण हेतु एक मुश्त पंजीकरण शुल्क रु०10,000+GST जमा कराना होगा जोकि सदैव के लिए मान्य होगा I पंजीकरण शुल्क का भुगतान ऑनलाइन किया जाएगा I पंजीकरण हो जाने के बाद, वेंडर रेलवे के किसी भी ज़ोन के ई-आक्शन ठेके के लिए बोली लगा सकता हैI इस प्रक्रिया के द्वारा पार्किंग, लीजिंग एवं पब्लिसिटी ठेके के ई-आक्शन किये जायेंगे I
इस प्रक्रिया के लाभों के अंतर्गत विक्रेता अपने क्रेताओं को ऑनलाइन माध्यम से बोली हेतु आमंत्रित करेगा , प्रतिस्पर्धा में वृद्धि होगी, न्यूनतम समय में आक्शन कार्य संपन्न किया जा सकेगा, पारदर्शिता होने के कारण आपसी विश्वास बढेगा, यह प्रक्रिया Cloud Base पर आधारित है अतः इससे सम्बंधित समस्त सूचनाओं को अधिक सुरक्षित एवं गोपनीय रखा जा सकेगा, वेंडर किसी भी स्थान से बिना किसी अतिरिक्त माध्यम के सीधा अपने विक्रेता के संपर्क में रहेगा साथ ही इस प्रक्रिया के द्वारा रेल-राजस्व में भी वृद्धि होगी | इस बैठक में अपर मंडल रेल प्रबंधक (प्रशा.), वी.एस. यादव एवं वाणिज्य शाखा के समस्त अधिकारीगण तथा कर्मचारी उपस्थित रहे| उक्त जानकारी वरिष्ठ मंडल वाणिज्य प्रबंधक उत्तर रेलवे, लखनऊ के द्वारा प्राप्त हुई|