आंध्रप्रदेश में “केमिकल फैक्ट्री” के हादसे ने मचाया “कोहराम”…

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विशाखापट्टनम (जनमत) :- जहाँ एक तरफ विश्व के साथ ही देश में भी कोरोना वायरस से जन जीवन प्रभावित हुआ हैं वहीँ दूसरी तरफ आंध्र प्रदेश के विशाखापट्टनम में गुरुवार की सुबह लोगो के लिए बड़ी मनहूस साबित हुई,  जानकारी के मुताबिक  तड़के एक केमिकल प्लांट से गैस लीक हो गई। वहीँ यह हादसा तड़के 2:30 बजे एलजी पॉलिमर्स इंडस्ट्री के प्लांट में हुआ। सुबह करीब 5:30 बजे न्यूट्रिलाइजर्स के इस्तेमाल के बाद हालात काबू में आए। तब तक गैस 4 किलोमीटर के दायरे में आने वाले 5 छोटे गांवों में फैल हो चुकी थी। हादसे में अब तक 2 बच्चे समेत 11 लोगों की मौत हो चुकी है। हादसा विशाखापट्टनम से करीब 30 किलोमीटर वेंकटपुरम गांव में हुआ। बताया जा रहा है कि लॉक डाउन के चलते इस केमिकल फैक्ट्री में नाम मात्र के लोग ही मौजूद थे लेकिन गैस के बहाव से कुछ किलोमीटर तक का भाग प्रभावित हुआ है.

 

फिलहाल इसकी वजह से एक हजार से ज्यादा लोग बीमार हैं। 300 लोग अस्पताल में भर्ती हैं। 25 लोग वेंटिलेटर पर हैं। 15 बच्चों की हालत नाजुक है। एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, एनडीएमए और नौसेना की टीम ने रेस्क्यू ऑपरेशन किया। एनडीआरएफ के डीजी एस एन प्रधान ने कहा है कि अब स्थिति नियंत्रण में है। यह कोशिश की जा रही है कि और लीकेज नहीं हो। आंध्र प्रदेश के डीजीपी दामोदर गौतम सवांग ने बताया कि सुबह 5:30 बजे न्यूट्रिलाइजर्स के इस्तेमाल के बाद हालात काबू में आए।  मारे गए 8 लोगों में से 2 की मौत दहशत में भागते समय हुई। इनमें से एक आदमी कंपनी की दूसरी मंजिल से गिरा, जबकि दूसरा कुएं में गिर गया। हादसे की खबर लगते ही कई लोग मौके पर पहुंचे, लेकिन वहीं बेहोश होकर गिर गए।

 

आसपास के घरों में भी लोग बेहोश मिले। कुछ लोगों के शरीर पर लाल निशान पड़ गए। यह सबसे लोकप्रिय ऑर्गनिक सॉल्वेंट बेंजीन से पैदा हुआ पानी की तरह बिना रंग वाला लिक्विड होता है। इसी से गैस निकलती है। यह दम घोंट देने वाली गैस है। यह सांसों के जरिए शरीर में चली जाए तो 10 मिनट में ही असर दिखाना शुरू कर देती है। यह गैस पॉलिस्टाइरीन प्लास्टिक, फाइबर ग्लास, रबर और पाइप बनाने के प्लांट में इस्तेमाल होती है। 

वहीँ इस हादसे को लेकर राष्ट्रपति से लेकर देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगनमोहन रेड्‌डी से फोन पर बात की। साथ ही दिल्ली में एनडीएमए के अधिकारियों से चर्चा की। केंद्र सरकार की ओर से एक्सपर्ट टीम भेजने का फैसला लिया गया है। उधर, आंध्र प्रदेश सरकार ने मृतकों के परिजनों को 1-1 करोड़ रुपए की आर्थिक सहायता देने का ऐलान किया है। 

आपको बता दे कि एलजी पॉलिमर्स मल्टीनेशनल कंपनी है। यह 1961 में बनी थी। तब इसका नाम हिंदुस्तान पॉलिमर्स था। 1978 में विजय माल्या के यूबी ग्रुप की मैकडॉवल एंड कंपनी में मर्ज हो गई। वेंकटपुरम गांव के गोपालनट्‌टनम इलाके में एलजी पॉलिमर्स का प्लांट 1997 से है। लॉकडाउन की वजह से प्लांट काफी दिनों से बंद था। इसे दोबारा शुरू करने की तैयारी थी। आमतौर पर यहां 250 के आसपास कर्मचारी होते हैं। लेकिन हादसे के वक्त यहां कुछ ही लोग थे। फिलहाल मौके पर टीम पहुच चुकी है और कार्यवाही की जा रही है.

 Posted By :- Ankush Pal

Correspondent, Janmat News.

Uttar Pradesh.