लखनऊ (जनमत):- आईपीएस अधिकारियों की फ़ौज के बाद भी कमिश्नरी पुलिस वाले राजधानी लखनऊ में अपराध बेकाबू हो चुके है। यहाँ बदमाशों ने ताबड़तोड़ वारदातों को अंजाम देकर लखनऊ पुलिस की चूलें हिला दी है। अभी विभूतिखण्ड में हुए गैंगवार के आरोपियों तक पुलिस पहुंच भी नहीं पाई थी कि एक और सनसनीखेज वारदात में थाना पारा इलाके में असलाहधारी बदमाशों ने घर लौट रहे एक व्यक्ति को गोली मार दी। गोली लगने से घायल हुए शख्स को स्थानीय लोगों की सूचना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया है। गोली लगने से घायल ट्रामा में भर्ती शख्स की हालत गंभीर बनी हुई है।
गोली लगने से गंभीर रूप से घायल हुए व्यक्ति का नाम है वीरेंद्र यादव है। वीरेंद्र यादव थाना पारा के डिप्टीखेड़ा इलाके के रहने वाले है। बेटे दीपक यादव के मुताबिक उसके पिता देर रात जयपुरिया स्कूल स्थित अपने लॉन से वापस घर लौट रहे थे। घर लौटने के दौरान कुल्हड़कट्टा पुल के पास पहले से घात लगाए बदमाशों ने उसके पिता वीरेंद्र यादव पर गोली चला दी। गोली उसके पिता के दाहिने गाल को भेंदती हुई बाहर निकल गई जिसके बाद उसके पिता वही पुल पर ही गिर पड़े। पिता को गोली मारने की सूचना स्थानीय लोगों ने पुलिस को दी जिसके बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने घायल को ट्रामा सेंटर भेज कर परिजनों को सूचना दी। दीपक यादव के मुताबिक उसके पिता ने हरजीत यादव पर गोली मारने का आरोप लगाया है। साथ ही हरजीत के साथ सुशील यादव और दो अन्य लोग भी मौजूद थे।
तकरीबन एक दर्जन आईपीएस अधिकारियों की फ़ौज वाले लखनऊ में बदमाशों को पुलिस का तनिक भी खौफ नहीं रहा। साथ ही जिस तरह से लखनऊ में ताबड़तोड़ वारदातों को अंजाम दिया जा रहा है उससे यह भी साबित होने लगा है कि योगी सरकार में पुलिसिया कार्रवाई सिर्फ व्यक्तिगत दुश्मनी तक ही सीमित हो चुकी है। यही वजह भी है कि सीमित बदमाशों के खिलाफ पुलिस एजेंडा बनाकर कार्रवाई कर रही है तो दूसरी तरफ बेखौफ हुए बदमाशों को पुलिस की यही कार्रवाई उनके लिए वरदान साबित हो रही है।
Posted By:- Amitabh Chaubey