भदोही (जनमत ) :- काशी-प्रयाग के मध्यांतर में स्थित सीता समाहित स्थल सीतामढ़ी में लवकुश मेले को लेकर बुधवार को तैयारी पूरी कर ली गई। गंगा पूजन व देवी देवताओं के पूजन संग अखिल भारतीय राष्ट्रीय रामायण मेले का आज शुभारंभ हो जाएगा। 8 जुलाई को समापन दिवस पर विशाल मेला लगेगा। मेले में प्रयाग पीठाधीश्वर स्वामी हरिहरानंद महाराज वाराणसी के डॉ मदनमोहन मिश्र चित्रकूट की साध्वी पुष्पा कमलापति शुक्ल महाराज शिवरामाचार्य महाराज सुबह शाम दोनों समय रामकथा का अमृत रसपान करायेंगे। मेले में विभिन्न तरह की दुकानें और झूला लोगों के लिए आकर्षण व मनोरंजन का केन्द्र होंगे। वहीं सुरक्षा को लेकर भी चौकसी बरती जा रही है।
सादे वर्दी में पुलिस को तैनात कर दिया गया है तो शोहदों पर भी पुलिस पैनी नजर रखेगी। मेले के नौवें दिन 8 जुलाई को लवकुश जन्मोत्सव बड़े ही धूमधाम से मनाया जाएगा तथा ऐतिहासिक व विशाल मेला भी आयोजित होगा। पौराणिक मान्यता है कि भगवान श्रीराम ने वैदेही का परित्याग कर दिया था। इस दौरान माता सीता बाल्मिकी आश्रम में ही आकर रहने लगी थी।
इसी दौरान उनके दो पुत्र लव और कुश पैदा हुए थे। इसी परंपरा के तहत सीतामढ़ी में प्रत्येक वर्ष नौ दिन तक रामायण मेला का आयोजन किया जाता है। लवकुश जन्मोत्सव में पूर्वाचल ही नहीं अन्य प्रांतों के लोग भी दर्शन-पूजन करने के लिए आते हैं। मेला क्षेत्र में झूला आदि सज गए हैं। वाल्मीकि आश्रम को भी सजा दिया गया है।
Reported By- Anand Tiwari
Published By – Vishal Mishra