भदोही/जनमत। खुद को एसओजी बताकर कारोबारी की पत्नी से 2.3 लाख की वसूली करने वाला आरक्षी पहुंचा सलाखो के पीछे। पुलिस के कारस्तानी एक बार फिर सामने आई है। मामला भदोही जिले से जुड़ा हुआ है।
बताया जाता है कि मैनपुरी के कुरावली थाना क्षेत्र के नेरुल उसर पट्टी निवासी गिरीश कुमार अपनी पत्नी के साथ वाराणसी आए थे। रेलवे स्टेशन भदोही के पास सुरियावां थाने पर तैनात मुख्य आरक्षी सुरेंद्र प्रताप अपने तीन-चार साथियों के साथ मिले और खुद को एसओजी बताया और गिरीश कुमार को हिरासत में ले लिया फर्जी मुकदमे में फंसाने की बात कहकर पति को छोड़ने के लिए पत्नी से ढाई लाख रुपए में तय हुई। डरी सहमी पत्नी ने 2 लाख 30 हजार रुपए गूगल पे के माध्यम से सिपाही व उसके साथियों के खाते में भेज दिया।
लेकिन महिला ने इस मामले को उच्च अधिकारियों तक पहुंचाई थी, लेकिन मामले को दबाए रखा गया। लेकिन जब 25 अप्रैल को महिला ने इसकी शिकायत आइजीआरएस पोर्टल पर की तो भदोही एसपी डॉक्टर मीनाक्षी कात्यान ने क्षेत्राधिकारी भदोही से इसकी जांच कराई। जांच के बाद शिकायत सही मिलने पर 3 महीने बाद केस दर्ज कर मुख्य आरक्षित सुरेंद्र प्रताप के खिलाफ अपराध संख्या 85 /2024 धारा 166,386,420,506 के भारतीय दंड विधान के तहत अभियोग दर्ज कर जेल भेज दिया गया। हैरानी की बात तो यह है कि सिपाही के साथियों का अभी तक पता नहीं चला। लेकिन अधिकारियों ने दावा किया है कि जल्द ही उन्हे भी गिरफ्तार कर लिया जाएगा।
REPORTED BY – ANAND TIWARI
PUBLISHED BY – MANOJ KUMAR