फर्रुखाबाद (जनमत):- फर्रुखाबाद में बीते दिन हुई मतगणना में तो यह साफ हो गया कि बीजेपी प्रत्याशी को उसकी पार्टी के कई दिग्गजों के बूथ पर पटखनी खानी पड़ी| जहाँ हाथी गणेश बनकर दौड़ा| बीजेपी प्रत्याशी अपनी ही पार्टी और सरकार में भीतरघात का शिकार हो गयीं! जबकि प्रचार के लिये दो उप मुख्यमंत्री चार विधायक ,एक सांसद ,एक एमएलसी और 6 कैबिनेट मंत्री पंहुचे थे| तिम दिन उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक व प्रभारी मंत्री योगेंद्र उपाध्याय कुमार उपाध्याय ने प्रत्याशी को जिताने के लिए रोड शो किया। वहीं दूसरी तरफ बसपा को ना ही रोड़ शो की अनुमति मिली और और कई मुकदमें दर्ज हुए सो अलग| लेकिन हाथी उसके बाद भी लगातार ताकत बढ़ता चला गया|बीजेपी प्रत्याशी को बीजेपी जनप्रतिनिधि के ही बूथों से वोट नहीं मिला। बीजेपी प्रत्याशी की सीट अपनों के ही भीतर घात का शिकार हो गयी| जिले में बीजेपी की इस हार से विपक्ष के हौसले बुलंद है।
निकाय चुनाव में इस बार भाजपा ने पूरा जोर लगाया। जिले के सभी नौ निकायों से अध्यक्ष पद के प्रत्याशी उतारे। यहां सांसद, विधायक व एमएलसी भाजपा के हैं। इससे निकाय चुनाव में प्रत्याशियों को जिताने की राह भी पार्टी को आसान दिख रही थी। नगर पालिका फर्रुखाबाद की सीट भाजपा के सम्मान से जुड़ी थी । इससे इस सीट पर संगठन के सेनापति भाजपा जिलाध्यक्ष रूपेश गुप्ता की मां सुषमा गुप्ता को चुनावी रण में उतारा गया। इसके बावजूद पहले मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने गुरुगांव देवी मंदिर के पास चुनावी सभा कर सभी प्रत्याशियों को जिताने की अपील की। इसके बाद प्रचार के अंतिम दिन उपमुख्यमंत्री बृजेश पाठक व प्रभारी मंत्री योगेंद्र उपाध्याय कुमार उपाध्याय ने प्रत्याशी को जिताने के लिए रोड शो किया। सभी विधायक और सांसद भी प्रत्याशियों के वोट मांगते रहे। मतगणना हुई तो सभी की मेहनत और रुतवे पर पानी फिरता दिखा। नगर पालिका कायमगंज की सीट निर्दलीय प्रत्याशी डॉ.शरद गंगवार ने हथिया ली। नगर पंचायत कमालगंज में निर्दलीय राजबेटी शंखवार, नगर पंचायत कंपिल में सपा से राजवती, शमसाबाद में सपा से जोया शाह व मोहम्मदाबाद से निर्दलीय ऊषा अध्यक्ष बनीं। पुराने किसी भी निकाय क्षेत्र में भाजपा अपना वर्चस्व नहीं बना सकी।
शहर में विधान सभा या लोक सभा का चुनाव हो या फिर नगर पालिका अध्यक्ष का उसकी हार जीत में पूर्व मंत्री स्वर्गीय ब्रह्मदत द्विवेदी का मोहल्ला सेनापति अहम भूमिका में होता है| इस मोहल्ले में स्वर्गीय द्विवेदी के पुत्र सदर विधायक मेजर सुनील दत्त द्विवेदी आदि बीजेपी नेता निवास करते है| इसके साथ पूरा मोहल्ला ही बीजेपी का माना जाता है| लेकिन नगरपालिका चुनाव में जिस तरह से हाथी नें विधायक के मोहल्ले में उत्पात मचाया उससे साफ है कि बीजेपी प्रत्याशी की सीट अपनों के ही भीतर घात का शिकार हो गयी| दरअसल विधायक मेजर सुनील दत्त द्विवेदी के मोहल्ले सेनापति में तीन बूथ है| 267, 268 व 269 है| जिसमे कमरा नम्बर एक में बूथ 267 पर सपा की एकता चौधरी को 30 मत मिले, कांग्रेस की मुमताज को 1 मत मिला, आप की राधा श्रीवास्तव 2 मत, वत्सला अग्रवाल को 153 मत मिले| जबकि बीजेपी प्रत्याशी सुषमा गुप्ता 205 मत इस बूथ पर मिले| वहीं बूथ संख्या 268 पर सपा को 75 मत मिले, बसपा की वत्सला को 166 मत मिले जबकि बीजेपी की सुषमा इस बूथ पर 122 मत पाकर बूथ हार गयीं| जबकि मतदेय स्थल संख्या 269 पर सपा को 54, बसपा की वत्सला को 81 मत मिले| वहीं बीजेपी नें यहाँ बढत बनाकर 155 मत हासिल किये|
अब बात करें भाजयुमो प्रदेश अध्यक्ष एमएलसी प्रांशु दत्त द्विवेदी के आवास के सामने मतदान केंद्र नारायण आर्य कन्या डिग्री कालेज में चार बूथ हैं | जिसमे भाजपा चारों खानें चित्त हो गयी| मतदान केंद्र 165, 166,167 व 168 वोट पर पड़ें| जिसमे बूथ संख्या 165 में सपा को 381, वत्सला को 49, बीजेपी की सुषमा गुप्ता को 15 मत मिले | बूथ संख्या 166 में सपा 157, बसपा 48, बीजेपी सुषमा गुप्ता 47 मत, बूथ संख्या 167 पर सपा को 246, बसपा की वत्सला को 28, बीजेपी प्रत्याशी सुषमा को 6 मत मिले| बूथ संख्या 168 पर सपा को 150, बसपा प्रत्याशी वत्सला को 13 व बीजेपी का खाता तक नही खुला| मतलब एक भी वोट इस बूथ पर नही मिला | फिलहाल दिग्गजों में मोहल्ले में विरोधी पार्टी के प्रत्याशियों नें बेहतर प्रदर्शन किया| भले ही वह हर बूथ पर ना जीते हों लेकिन हर बूथ पर बेहतर प्रदर्शन तो कर गये जो बीजेपी के लिये चिंता का विषय है!