सिंधी समाज के ईष्ट देवता पर गलत टिप्पणी के विरोध मे आक्रोश 

सिंधी समाज के ईष्ट देवता पर गलत टिप्पणी के विरोध मे आक्रोश 
Published By - ANKUSH PAL

अयोध्या (जनमत) :- अयोध्या सिंधी समाज के ईष्ट देवता प्रभु झूलेलाल पर टिप्पणी व समाज के ऊपर अमर्यादित भाषा का प्रयोग करने वाले छत्तीसगढ के निवासी जोहर छत्तीसगढ पार्टी के प्रमुख अमित बघेल के खिलाफ समाज सेवी सुरेश भारती ने आक्रोश व्यक्त कर कड़ी निंदा कर गलती की माफ़ी मांगने व अपने शब्द वापस लेने की मांग किया है। वही समाजसेवी सुरेश भारती ने कड़ी निंदा करते हुए कहा कि अमित बघेल (छत्तीसगढ़) हमारे सिद्ध / सिंधी समाज, हमारी आस्था, हमारे संस्कार और हमारे पूज्य ईष्ट देवता वरुण देवता के बारे में जो अपमानजनक, तुच्छ और घृणित शब्द कहे हैं — वह हमारे अस्तित्व और अस्मिता पर सीधा प्रहार है। “मछली वाला” और “पाकिस्तानी” जैसे शब्द सिर्फ़ अपमान नहीं, बल्कि पूरे समाज की धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचाने वाली निंदनीय टिप्पणी हैं।

यह कोई व्यक्तिगत मामला नहीं है — यह सिंधी समाज व हमारे समाज की आस्था और सम्मान का प्रश्न है। किसी भी नेता या सार्वजनिक व्यक्ति को यह अधिकार नहीं कि वह हमारे ईष्ट देवता या हमारी परम्पराओं का अपमान करे।अमित बघेल तुरंत अपना अपमानजनक बयान सार्वजनिक रूप से वापस लें। सोशल मीडिया, प्रेस, टीवी और समाचार माध्यमों में स्पष्ट रूप से माफी मांगी जाये। यदि माफी नहीं माँगी गई, तो सिंधी समाज मानहानि, धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचाने और सामाजिक असंतोष फैलाने जैसे अपराधों के तहत कानूनी कार्रवाई करेगा। राजनीतिक दलों और संस्थाओं को भी यह तय करना होगा कि वे ऐसे व्यक्ति को संरक्षण नहीं देंगे जिसने धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुँचाई है। सिंधी समाज पूरे देश में संगठित होकर शांतिपूर्ण प्रदर्शन, रैलियाँ और बहिष्कार जैसे संवैधानिक कदम उठाएगा। हमारा संघर्ष अहिंसक होगा, पर दृढ़ और निर्णायक होगा। शब्दों का वज़न होता है, और सार्वजनिक पद पर बैठे लोगों को अपने शब्दों की ज़िम्मेदारी लेनी होती है। धार्मिक और सामाजिक भावनाओं को ठेस पहुँचाना लोकतंत्र के सिद्धांतों का अपमान है।और सिंधी समाज इसे कभी सहन नहीं करेगा। अमित बघेल,अपना बयान वापस लो और सार्वजनिक रूप से माफी माँगो। यह केवल एक मांग नहीं, बल्कि सिंधी समाज का आत्मसम्मान और धार्मिक अधिकार है। यदि यह नहीं किया गया, तो पूरा सिंधी समाज कानूनी, सामाजिक और लोकतांत्रिक स्तर पर निर्णायक कदम उठाएगा।