हरदोई में खनन माफियाओं का दुस्साहस, जांच पर निकले जिला खनन अधिकारी की गाड़ी पर जानलेवा हमला
खनन अधिकारी ने डम्पर को रुकने का इशारा किया, लेकिन चालक ने वाहन रोकने के बजाय जानबूझकर तेज रफ्तार में सरकारी बोलेरो को टक्कर मार दी।
हरदोई से सुनील कुमार की रिपोर्ट —
हरदोई/जनमत न्यूज। जनपद हरदोई में अवैध खनन को लेकर कार्रवाई करने पहुंचे प्रशासनिक अमले पर खनन माफियाओं के हौसले इस कदर बुलंद नजर आए कि उन्होंने जिला खनन अधिकारी की सरकारी गाड़ी पर ही जानलेवा हमला कर दिया। गुरुवार देर रात बिलग्राम कोतवाली क्षेत्र के सांपखेड़ा गांव के पास हुई इस घटना में सरकारी वाहन बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया, हालांकि सौभाग्यवश जिला खनन अधिकारी समेत पूरी टीम सुरक्षित बच गई।
प्राप्त जानकारी के अनुसार जिला खनन अधिकारी शिवदयाल सिंह अपनी टीम के साथ अवैध खनन की लगातार मिल रही शिकायतों के मद्देनजर औचक निरीक्षण पर निकले थे। जब उनकी सरकारी बोलेरो पक्की सड़क से उतरकर गांव के अंदर कच्चे चकमार्ग पर पहुंची, तभी सामने से मिट्टी से भरा एक पीला डम्पर आता दिखाई दिया, जिस पर कोई नंबर प्लेट नहीं लगी थी। खनन अधिकारी ने डम्पर को रुकने का इशारा किया, लेकिन चालक ने वाहन रोकने के बजाय जानबूझकर तेज रफ्तार में सरकारी बोलेरो को टक्कर मार दी।
टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि बोलेरो अनियंत्रित होकर सड़क से पलटते हुए पास के गेहूं के खेत में जा गिरी। स्थिति की गंभीरता को भांपते हुए खनन अधिकारी शिवदयाल सिंह, चालक अनुराग सिंह तथा टीम के अन्य सदस्य समय रहते वाहन से कूद गए, जिससे एक बड़ा हादसा टल गया। इस घटना में किसी को गंभीर चोट नहीं आई, लेकिन सरकारी बोलेरो का अगला हिस्सा पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया।
हादसे के बाद आरोपी डम्पर चालक ने अपना वाहन चकमार्ग पर ही पलट दिया और मौके से फरार हो गया। सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और जांच शुरू कर दी। जिला खनन अधिकारी शिवदयाल सिंह ने पुलिस को दी गई तहरीर में बताया कि डम्पर चालक सुमित यादव निवासी परसौला, थाना बिलग्राम ने सरकारी कार्य में बाधा डालने और जान से मारने की नीयत से उनकी गाड़ी पर टक्कर मारी। उन्होंने यह भी बताया कि आरोपी पूर्व में भी अवैध खनन के मामलों में संलिप्त रहा है तथा उसकी जेसीबी मशीन पहले ही सीज की जा चुकी है।
पुलिस ने तहरीर के आधार पर गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है। फरार आरोपी सुमित यादव और उसके अवैध खनन नेटवर्क की तलाश में लगातार दबिश दी जा रही है। इस घटना ने जिले में खनन माफियाओं की बेखौफ गतिविधियों और प्रशासनिक अधिकारियों की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। प्रशासनिक अमले पर हुए इस हमले के बाद अवैध खनन के खिलाफ और अधिक सख्त कार्रवाई की मांग तेज हो गई है।

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